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radio-astronomy
Meanings: 4; in Dictionaries: 4
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astronomy
Meanings: 15; in Dictionaries: 10
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gravitational astronomy
Meanings: 1; in Dictionaries: 1
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physical astronomy
Meanings: 1; in Dictionaries: 1
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कर्मविपाकसंहिता - ज्येष्ठा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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कर्मविपाकसंहिता - पूर्वाषाढा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघव - मासगणाधिकार
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - शतभिषा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघवः - पञ्चतारास्पष्टीकरणाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - अनुराधा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघव - पाताधिकार
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - अश्विनी तक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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कर्मविपाकसंहिता - श्रवण नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघव
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - आश्लेषा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघवः - अस्तोदयाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - पूर्वाफाल्गुनी नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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कर्मविपाकसंहिता - पुनर्वसु नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघवः - त्रिप्रश्राधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघवः - ग्रहयुत्याधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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ग्रहलाघवः - परिचयः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही.
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कर्मविपाकसंहिता - हस्त नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघवः - मध्यमग्रहसाधनाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही.
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ग्रहलाघवः - नयनाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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भृगुसूत्रम्
‘ भृगुसूत्र’ नावे या ग्रंथात जन्मपत्रिकेचे फळ उत्तम प्रकारे अचूक कथन केले आहे.
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ग्रहलाघवः - चन्द्रग्रहणाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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ग्रहलाघव - ग्रहणद्वयसाधन
ज्योतिषशास्त्रसे कालज्ञान , कालगती ज्ञात होती है , इसलिये इसे वेदका एक अंग माना गया है ।
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ग्रहलाघवः - श़ृङ्गोन्नत्यधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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ग्रहलाघव - पंचताराधिकार
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - आर्द्रा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघव - ग्रह युत्यधिकार
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - धनिष्ठा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघव - ग्रहच्छायाधिकार
ज्योतिषशास्त्रसे कालज्ञान , कालगती ज्ञात होती है , इसलिये इसे वेदका एक अंग माना गया है ।
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ग्रहलाघव - नयनाधिकार
ज्योतिषशास्त्रसे कालज्ञान , कालगती ज्ञात होती है , इसलिये इसे वेदका एक अंग माना गया है ।
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कर्मविपाकसंहिता - उत्तराभाद्रपदा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघव - परिभाषा
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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भृगुसूत्रम् - तृतीयोऽध्यायः
‘ भृगुसूत्र’ नावे या ग्रंथात जन्मपत्रिकेचे फळ उत्तम प्रकारे अचूक कथन केले आहे.
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ग्रहलाघवः - मासगणाद्ग्रहणद्वयसाधनाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - पूर्वाभाद्रपदा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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कर्मविपाकसंहिता - उत्तराषाढा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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करणकल्पलता - रोहिणी नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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ग्रहलाघवः - ग्रहच्छायाधिकारः
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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ग्रहलाघव - स्पष्टाधिकार
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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भृगुसूत्रम् - प्रथमोऽध्यायः
‘ भृगुसूत्र’ नावे या ग्रंथात जन्मपत्रिकेचे फळ उत्तम प्रकारे अचूक कथन केले आहे.
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ग्रहलाघव - मध्यमाधिकार
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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ग्रहलाघव - पञ्चतारास्पष्टीकरणाधिकार
ज्योतिषशास्त्रसे कालज्ञान , कालगती ज्ञात होती है , इसलिये इसे वेदका एक अंग माना गया है ।
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ग्रहलाघव - नक्षत्रच्छायाधिकार
ज्योतिषशास्त्रसे कालज्ञान , कालगती ज्ञात होती है , इसलिये इसे वेदका एक अंग माना गया है ।
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ग्रहलाघव - पंचांगचंद्रग्रहण
ज्योतिषशास्त्राविना हिंदू धर्मियांचे कार्य एक क्षणसुद्धा चालू शकत नाही .
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कर्मविपाकसंहिता - विशाखा नक्षत्र
कर्मविपाकसंहितासे बडी सुगमतासे लोग अपना पूर्वजन्म का वृत्तांत जान सकते है और विधिपूर्वक प्रायश्चित्त करने से अपने मनोरथों को सिद्ध कर सकते है।
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