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काळजाच्या पाठीं राजा, सुखदुःखें भोगी प्रजा

   
Script: Devanagari

काळजाच्या पाठीं राजा, सुखदुःखें भोगी प्रजा

   राजाला कोणत्‍याहि प्रकारची काळजी नसते
   सर्व विवंचना कायत्‍या प्रजेच्या पाठीमागे लागलेल्‍या असतात. राजा केवळ सुखानें ऐश्र्वर्याचा उपभोग घेत असतो. प्रजेस कष्‍ट करावें लागतात. ही समजूत या म्‍हणीनें व्यक्त होते.

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