हिंदी सूची|पूजा एवं विधी|संध्या विधी| संध्या विधी संध्या विधी तिलक धारण पवित्रीधारण जप-विधि संध्याका समय संध्यास्तुति संध्योपासन-विधि सूर्यार्घ्य-विधि गायत्री ध्यान मध्याह्न-संध्या सायं-संध्या संध्या विधी रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। Tags : sandhyavidhiविधीसंध्या तिलक धारण रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। पवित्रीधारण रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। जप-विधि रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। संध्याका समय रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। संध्यास्तुति रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। संध्योपासन-विधि रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। सूर्यार्घ्य-विधि रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। गायत्री ध्यान रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। मध्याह्न-संध्या रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। सायं-संध्या रात या दिनमें जो भी अज्ञानवश विकर्म हो जायँ, वे त्रिकाल-संध्या करनेसे नष्ट हो जाते है। : Folder : Page : Word/Phrase : Person References : N/A Last Updated : May 24, 2018 Comments | अभिप्राय Comments written here will be public after appropriate moderation. Like us on Facebook to send us a private message. TOP