Dictionaries | References

रोहिणी डाजे मृग गाजे आर्द्रा वाहे पूर, सहदेव कहे भाडळी घर घर वाजे तूर

   
Script: Devanagari

रोहिणी डाजे मृग गाजे आर्द्रा वाहे पूर, सहदेव कहे भाडळी घर घर वाजे तूर

   रोहिणींत ( हें नक्षत्र असतें. तेव्हां ) उकाडा झाला, मृगांत मेघगर्जना झाली व आर्द्रा नक्षत्रांत पूर आले तर सहदेव भाडळीस म्हणतो कीं, घरोघरीं आनंदानें नगारे वाजूं लागतील
   म्हणजे त्याकाळीं पीक चांगलें होईल.

Related Words

रोहिणी डाजे मृग गाजे आर्द्रा वाहे पूर, सहदेव कहे भाडळी घर घर वाजे तूर   रोहिणी   घर घर   घर   घर दिवप   सहदेव   पञ्चायत घर   सिनेमा-घर   घर देना   पंचायत घर   आर्द्रा   चुंगी-घर   आर्द्रा नक्षत्र   चुङ्गी घर   रोहिनी नक्षत्र   रोहिणी नक्षत्र   स्वगृह   घर द्वार   घर बार   व्हडलें घर   भुताटकीचें घर   गोकुळासारखे घर   मुरदा घर   घर रिघणें   विंचांचें घर   घर असलेला   घर निघणें   घर लागणें   वेयांचें घर   मामाचे घर   अपना घर   तूर   घर गृहस्थी   मुर्दा घर   कौलारू घर   घर घेणें   घर चालविणें   घर थाटणें   घर नेसविणें   घर बुडणे   घर मांडणें   घर मारणें   भंडार घर   प्रेतदहन घर   घर-फोड़ना   घर बुडविणें   बिजुली घर   फुलां घर   घर जोडणें   घर भरणें   दुभत्याचें घर   भरलें घर   घर करणें   घर धरणें   घर बसाना   घर धुणें   घर पाहाणें   बैठक घर   मछली घर   पूछताछ घर   वानराचें घर   दिलें घर कीं उपजलें घर   वाजे   घराघरांनी   मृग   जळाचा पूर   पूर   एक दिल्लें घर ना जाल्यार नाल्लें घर   सैंपाकाचें घर घाणेरडें आणि बैठकीचें घर साजरें   एक घर उणें, तर दस घर पुणें   घर भोन्न दार ऑत्ता   आल्या गेल्याचे घर   घर खाली करणें   मारिनें जाणनातीले घर ना   मुद्दलाचें घर व्याजांत जातें   घर सांकड, बाईल माकड   घर स्‍वच्छ आरशासारखे करणें   घर डोईवर घेणें   घर मोडून मांडव करणें   मीचें घर खालीं असणें   एका ठिणगीनें घर जळतें   नवलाची बायको, कवलाचें घर   घर उन्हांत बांधणें   एका पेण्यान घर शिवप   केळीवर नारळी, घर चंद्रमौळी   घर पाठीस लागणें   लटकेचा घर तडेवरी   छाया एटलां छापडां ने नळियां एटला घर, रांडी रांडो एम कहे के कुंवारा एटला वर   आव जाव घर तुमारा   घर धुवून नेणें   तिसर नि घर विसर   सुना घर कुत्तेका राज   गर्वाचें घर खालीं   साहेबका घर दूर है   घरचा म्‍हाली, घर घाली   घर सांकड आणि बाईल माकड   घर सांकड आणि बायको माकड   दक्षिण उत्तर चमके बिजली, पश्चिम वाहे वात   उंदीर बडयतां शेंपडी, घर रिकामें   आपना घर दूरसे सुझतां है   
Folder  Page  Word/Phrase  Person

Comments | अभिप्राय

Comments written here will be public after appropriate moderation.
Like us on Facebook to send us a private message.
TOP